ऐसे लोगों को अब नहीं मिलेगा कांग्रेस का टिकट

यमुनानगर- अब कांग्रेस ऐसे लोगों को टिकट नहीं देगा जो पहले हार चुके हैं इस बात कि घोषणा कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने कि है |गत विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के जिन प्रत्याशियों ने यमुनानगर की चारों सीटों पर चुनाव लड़ा था, उन्हें कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष डॉ. अशोक तंवर ने जोर का झटका दे दिया।

जगाधरी के रामलीला भवन में आयोजित कार्यकर्ता सम्मेलन में अशोक तंवर ने कहा कि कुछ लोगों के कहने पर जिन चारों प्रत्याशियों को टिकट दिया था, वे जीतने वालों में से नहीं थे। जब उन्हें टिकट मिले तो मैंने पहले ही कह दिया था कि चार बटे जीरो।

जिन प्रत्याशियों के बारे में वो बात कर रहे थे, उनमें से दो प्रत्याशी भूपाल भाटी व सुरेश ढांडा उनके साथ मंच पर ही मौजूद थे। तंवर के मुंह से ये बात सुनकर दोनों हक्के बक्के रह गए। ये दोनों पहले पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के समर्थक थे और बाद में अशोक तंवर के साथ आ गए। तीसरी प्रत्याशी भी हुड्डा समर्थक यमुनानगर सीट से डॉ. कृष्णा पंडित थी। चौथे प्रत्याशी हलका साढौरा राजपाल भूखड़ी थे। वह पूर्व केंद्रीय मंत्री कुमारी सैलजा के समर्थक हैं।

अशोक तंवर की बात से कहीं न कहीं कयास लगाया जा रहा है कि दोबारा चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे इन प्रत्याशियों को भविष्य में दोबारा कांग्रेस का टिकट नहीं मिलेगा। हालांकि बाद में उन्होंने पत्रकार वार्ता में कहा कि पूर्व प्रत्याशियों को मेहनत करनी चाहिए।

अशोक तंवर ने कहा कि भूपाल भाटी जी, पिछली बार तो आपका दांव लग गया था। टिकट उसे ही मिलता है जो जीतने वाले होते हैं। पिछली बार टिकट बंटवारे में मेरी भूमिका नहीं थी। उन्होंने कार्यकर्ताओं को नसीहत दी कि वे मेहनत करें। मेहनत करने वाले को ही फल मिलता है। इस दौरान पूर्व सांसद रणजीत चौटाला, पूर्व सांसद ईश्वर सिंह आदि मौजूद रहे।

अपने चिह्न पर निगम चुनाव लड़ेगी कांग्रेस
सम्मेलन के दौरान मंच पर कार्यकर्ताओं ने निगम में अपने चुनाव चिह्न पर मैदान में उतरने का सुझाव दिया। इस पर तंवर ने घोषणा की कि नगर निगम के चुनाव में इस बार कांग्रेस अपने चुनाव चिह्न पर प्रत्याशी उतारेगी।

उन्होंने कहा कि हर कोई विधायक या सांसद का चुनाव नहीं लड़ सकता। चुनाव चिह्न पर लड़ने से कार्यकर्ताओं को आगे बढ़ने का मौका मिलेगा। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि भाजपा डरी हुई है। अगले माह होने वाले नगर निगम के चुनाव सरकार समय पर नहीं कराएगी। सरकार कोर्ट चली जाएगी, जिससे चुनाव लटक जाएगा। गुरुग्राम निगम चुनावों में भाजपा ने 35 में से 8 सीटें जीती थी। भाजपा ने वहां पर धोखाधड़ी की।

Share this story