धतूरा के जाने क्या है फायदे

धतूरा के जाने क्या है फायदे

बवासीर के इलाज के तौर पर भी धतूरे का इस्तेमाल किया जाता है।

डेस्क-भोलेनाथ को चढ़ाया जाने वाला कांटेदार फल धतूरा आम तौर पर ज़हरीला और जंगली फल माना जाता है और यही कारण है कि पूजन के अलावा इसका प्रयोग किसी भी काम में नहीं किया जाता। लेकिन धतूरे को कई रोगों के लिए उपयोग किया जाता है |

जानिए धतूरा के फायदे

  • धतूरे का प्रयोग गंजेपन को दूर करने के लिए भी किया जाता है
  • इसके रस को सिर पर मलने से न केवल डैंड्रफ ख़त्म होती है, बल्कि गंजेपन से भी छुटकारा मिलता है।
  • दर्द से रहत पाने के लिए धतूरे के रस को टिल के तेल में मिलकर गर्म कर लें और दर्द वाली जगह पर इस तेल की मालिश करें।
  • बवासीर के इलाज के तौर पर भी धतूरे का इस्तेमाल किया जाता है।
  • इसके लिए धतूरा के फूल और पत्तों को जलाकर इसके धुएं से बवासीर के मस्सों की सिकाई करने से भी फायदा होता है
  • नियमित रूप से धतूरे के रस और तिल के तेल की मालिश करने से जोड़ों की समस्या और गठिया जैसी समस्याओं से न केवल काफी हद तक निजात पाई जा सकती है बल्कि इस रोग को पूरी तरह से मिटाया भी जा सकता है
  • बुखार या कफ होने की स्थिति में लगभग 125 -250 मिलीग्राम धतूरे के बीज लेकर इसे जलाकर राख बना लें और इस राख को मरीज को दें।
  • इससे बुखार या कफ गायब हो जाएगा।
  • इसकी पत्तियों, फूलों व बीजों को पीसकर बनाए गए पेस्ट का लेप बनाकर दर्द वाले स्थान करने पर लगाने से राहत मिलती है।
  • इसके पेस्ट को सरसों या तिल के तेल में पकाकर धतूरे का तेल बनाया जाता है, जो एक अच्छा दर्द-निवारक है।
  • फेफड़े, छाती आदि में कफ जमा होने पर यह रामबाण की तरह काम करता है।
  • इसका प्रयोग रक्त संचार सुचारू बनाए रखने के लिए भी किया जाता है।
  • धतूरा हृदय की गतिविधियों को नियंत्रित रखता है।
  • यह मासिक धर्म संबंधी गड़बडियों को ठीक करता है।

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