UP में इमरजेंसी हालात, विरोधी नेताओं के मूवमेंट पर रोक

UP में इमरजेंसी हालात, विरोधी नेताओं के मूवमेंट पर रोक

UP-आम चुनाव करीब आते जा रहे हैं विरोधी दलों की गतिविधियों पर सत्ताधारी दल निगरानी कर रहा है। इससे साफ जाहिर हो रहा है कि सरकार को आगामी चुनाव में बीजेपी की हालत पतली होती नजर आ रही है। यही वजह है कि पहले सपा बसपा के गठबंधन को लेकर सरकार और पार्टी दोनों में ही हड़कंप मचा हुआ है। दूसरी ओर कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी की अभूतपूर्व रैली ने उनके बचे खुचे अरमानों पर ठंडा पानी फेर दिया। सत्ताधारी दल को इस कदर चिंता खाये जा रही है कि वो किसी भी हालात में विरोधियों के बढ़ते कद और लोकप्रियता को ध्वस्त करने को ेतत्पर है। इसी कड़ी में उन्होंने सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव को प्रयागराज जाने नहीं दियां।

अखिलेश यादव को प्रयागराज के इलाहाबाद यूनिवर्सिटी छात्र संघ के शपथ ग्रहण समारोम में विशेष अतिथि के रूप बुलाया गया था। वहां छात्रगण अखिलेश यादव को सुनना चाह रहे थे। लेकिन नियत समय पर जब अखिलेश यादव अमौसी हवाई अड्डे पर प्रयागराज जाने के लिये पहुंचे तो उन्हें प्लेन पर चढ़ने से रोक दिया गया। यूपी पुलिस के अफसरों ने उन्हें यह कह कर रोका क उनके जाने से प्रयागराज में शांति भंग होने की आशंका इसलिये आप वहां नहीं जा सकते। योगी सरकार का आदेश है। अखिलेश यादव का कहना है कि कार्यक्रम जाने की सूचना उन्होंने तीन माह पहले ही सरकार को दे दी थी। दिचस्प यह है कि हवाई अड़्डे के भीतर यूपी पुलिस को अंदर आने के लिये अनुमति लेनी होती है। अधिकारी बिना अनुमति अंदर आये और उन्होंने अखिलेश यादव को फ्लाइट पकड़ने से रोक दिया।

ये सब हालात देख कर तो लग रहा है कि योगी सरकार को अपने कामकाज और विकास पर भरोसा नहीं रहा है। उन्हे रामराल और मोदी के चमत्कार पर अब भरोसा नहीं रहा है। इसलिये हड़बड़ी सरकार वो सब कर रही है जिसकी वजहसे उनकी खिल्ली उड़ाई जा रही है। वैसे भी चुनावी सर्वे बता रहे है कि यूपी में जहां पिछली बार 73 लोकसभा सीटें बीजेपी को मिलीं थीं इस बार 15 से बीय ही मिलने के आसार दिख रहे हैं।

विनय गोयल

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