Cibil Score Kaise Thik Kare,सिबिल स्कोर कैसे बढ़ाए?

Civil Ka Full Form Kya Hai, सिबिल कैसे काम करता है?

 

What is civil?

Civil score kya hai?

Civil ka full form 

Civil score kaise bdhaye?

Civil kaise kam karta hai?

आज के समय में युवाओं का इंट्रेस्ट बिज़नेस में ज्यादा बढ़ गया है और किसी भी बिज़नेस की शुरुआत करने के लिए आपको जिस चीज़ की सबसे ज्यादा जरुरत होती है वो है पैसा। जिसके लिए आप विभिन्न संसाधनों के जरिये बैंक में लोन के लिए अप्लाई करते हैं या क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल करते हैं तो उसमे बहुत सारे दस्तावेजों की जरुरत होती है जिसमे आपने एक बहुत महत्वपूर्ण चीज़ सुनी होगी जिसे सिबिल स्कोर कहते हैं। तो आज हम इसी विषय में चर्चा करेंगे की आखिर सिबिल स्कोर क्या है, ये कैसे काम करता है और इसके लाभ क्या होते हैं। 

What is cibil:सिबिल क्या होता है?

सिबिल को समझने के लिए आपको पहले ये जानना होगा की इसकी शुरुआत कब हुई, और इसका क्या काम होता है तो आपको बता दे की  CIBIL को भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा लाइसेंस प्राप्त है और यह साल 2005 के क्रेडिट इंफॉर्मेशन कंपनीज़ एक्ट द्वारा शासित है। यह लोगों के लिए और कंपनियों के लिए क्रेडिट स्कोर, क्रेडिट रैंक और क्रेडिट रिपोर्ट बनाने का काम करती है। ये रिपोर्ट नए क्रेडिट जैसे लोन और क्रेडिट कार्ड के लिए आवेदनों की मंज़ूरी में बहुत ही महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं।

What is the full form of cibil:सिबिल का फुल फॉर्म क्या होता है?

CIBIL का पूरा नाम है, क्रेडिट इंफॉर्मेशन ब्यूरो (इंडिया) लिमिटेड है। यह आरबीआई द्वारा अधिकृत क्रेडिट ब्यूरो है जो किसी व्यक्ति, कंपनी और निजी प्रतिष्ठानों के क्रेडिट इतिहास के बारे में इनफार्मेशन देता है।

How cibil works:सिबिल कैसे काम करता है?

बैंक या अन्य फाईनेंस संस्थान सबसे पहले अपने ग्राहक का डेटा जमा करते हैं, जैसे कि बकाया लोन राशि, पुनर्भुगतान रिकॉर्ड, क्रेडिट कार्ड के लिए आवेदन और अन्य क्रेडिट संबंधी जानकारियां जो होती हैं वो CIBIL को देते है

इसके बाद ट्रांसयूनियन CIBIL उस डेटा का मूल्यांकन करता है और उन व्यक्तियों के लिए क्रेडिट रिपोर्ट बनाता है जिनमें से “क्रेडिट स्कोर” भी शामिल होता है। वहीं, व्यवसायों के लिए क्रेडिट रिपोर्ट में “क्रेडिट रैंक” होता है

बैंक या NBFC, CIBIL रिपोर्ट के आधार पर आवेदन करने वाले व्यक्ति को लोन देने के जोखिम का मूल्यांकन करते हैं और उसके बाद लोन या क्रेडिट कार्ड के आवेदन को मंजूरी देते है या नहीं भी दे सकते हैं। और  इसके बाद, इस निर्णय को CIBIL को भी बताया जाता है और ये जानकारी आने वाले भविष्य की रिपोर्ट में शामिल की जाती है

 

What is cibil score:सिबिल स्कोर क्या है?

CIBIL स्कोर एक संख्या है। जिसमे 3 अंक होते हैं, और यह 300 से लेकर 900 तक होती है और किसी व्यक्ति की लोन लेने की योग्यता पर निर्भर होती है। यानि की जब भी कोई नए लोन या क्रेडिट कार्ड के लिए आवेदन करता है, तो लोन देने वाले संस्थान आवेदक को लोन देने के जोखिम का मूल्यांकन करने के लिए उसके क्रेडिट स्कोर को अच्छे से चेक करता है। और एक अच्छा स्कोर 900 के करीब माना जाता है, जो की एक नए लोन की मंज़ूरी की संभावना को ज्यादा करता है।

How to increase cibil score:सिबिल स्कोर को कैसे बढ़ाएं?

अगर आप चाहते हैं की आपके सिबिल स्कोर ख़राब न हो या आपका स्कोर कम हो गया है तो आप कुछ चीज़ों में ध्यान रखकर अपने  सिबिल की लिमिट को ठीक कर सकते हैं, जैसे की आप बार-बार लिमिट न बढ़ाएं, क्यूंकि लिमिट बढ़ाना ये दर्शाता है की आपके पास बहुत खर्चे हैं साथ ही अगर आप क्रेडिट स्कोर को ठीक रखना चाहते हैं तो आपको एक साथ कई लोन लेने से बचना चाहिए क्यूंकि एक साथ कई लोन लेने से आप पर ईएमआई का बोझ काफी बढ़ जाता है।  आपके क्रेडिट कार्ड की जितनी लिमिट है उसका 30 प्रतिशत ही इस्तेमाल करें अगर आप ज्यादा बड़ी संख्या में क्रेडिट कार्ड से ख़रीददारी करते हैं तो इससे भी आपका स्कोर बिगड़ सकता है। इसके साथ ही आपकी जो फिक्स डेट हो उसके पहले ही अपना भुगतान कार दें, जिससे आपका स्कोर अच्छा रहेगा। 

 

 

सिविल कितने दिन में ठीक हो जाता है?

आपके सिविल खराब होने का बड़ा कारण ये होता है की आपने अपनी भुगतान राशि समय पर जमा नहीं की। इसलिए सिविल को ठीक करने के लिए ईएमआई का समय समय पर पेमेंट करना चाहिए। और इसके साथ ही अपना सिबिल स्कोर अच्छा रखने के लिए फिक्स डेट से पहले अपने क्रेडिट कार्ड या लोन की बकाया राशि का पेमेंट कर दें, और अगर आपका सिविल खराब हो गया है तो अलग अलग संस्थान 30 से 45 दिनों में आपके सिविल की जानकारी  देने में सक्षम होती हैं।