आरटीई प्रवेश लेने वाले विद्यालय दस प्रतिशत बढ़ा सकते है फीस-जिलाधिकारी

Schools taking admission in RTE can increase fees by 10%- District Magistrate
 
लखनऊ. शिक्षा का अधिकार के अंर्तगत अभी तक प्रवेश न लेने वाले निजी विद्यालयों पर सख्त रूख अपनाते हुये विद्यालय प्रबन्धकों के पेंच कसे। जिलाधिकारी कार्यालय के एपीजे अब्दुल सभागार में जिलाधिकारी ने स्कूल प्रबन्धकों व प्रधानाचार्यों के साथ आयोजित बैठक में आरटीई प्रवेश के संबंध में बरती जा रही शिथिलता पर कड़ी नाराजगी जाहिर की। बैठक में जिलाधिकारी के साथ मुख्य विकास अधिकारी बेसिक शिक्षा अधिकारी सहित अनेक अधिकारी उपस्थित थे।

 प्रवेश न लेने के लिये स्कूलों द्वारा तरह-तरह के बहाने बनाये जा रहे है। इन सबकों सुनने के बाद जिलाधिकारी ने दो टूक बोलते हुये कहा कि जिस स्कूल को जितने बच्चे लाटरी के माध्यम से आवंटित किये गये है उन सभी का प्रवेश एक सप्ताह के अंदर लेकर रिपोर्ट सौपनी होगी अन्यथा आंठवें दिने से विद्यालय का संचालन बंद करा दिया जायेगा।

 उन्होने कहा कि यदि कोई व्यक्ति किसी प्रकार फर्जी प्रवेश लेता है या कोई शक है तो प्रोविजनल प्रवेश लेकर शिक्षा विभाग या डीएम कार्यालय को सूचित करे। इसकी जांच करायी जायेगी गलत पाये जाने पर आवेदक के विरूद्ध एफआईआर कराकर कार्यवाही की जायेगी। साथ ही दी गयी समय सीमा के बाद प्रवेश न लेने वाले विद्यालय पर प्रति बच्चा पच्चीस हजार का जुर्माना भी लगाया जायेगा। इसके साथ ही उन्होने कहा कि जो विद्यालय आरटीई के बच्चों का प्रवेश नियमानुसारर लेते है वे अपने ,खर्चो को पूरा करने के लिये अपनी फीस में दस प्रतिशत की वृद्धि भी कर सकते है। इस बैठक में बासठ विद्यालयों के प्रबन्धक या उनके प्रतिनिधि उपस्थित थे।