ईडी ने मुंबई से कार्यालय चलाने वाले यूपी के व्यवसायी की संपत्ति कुर्क की
फर्म विभिन्न अन्य फर्मो को बिल जारी करती थी, जिसमें माल की खरीद का संकेत दिया गया था, जबकि वास्तव में कोई माल आपूर्ति नहीं की गई थी।
ईडी के अधिकारी ने बताया कि फर्जी चालान मामले में जांच के सिलसिले में कुर्की की कार्रवाई शुरू की गई थी।
फर्म पर मनी लॉन्ड्रिंग के उद्देश्य से फर्जी चालान जारी करने का आरोप लगाया गया है।
ईडी के एक अधिकारी ने कहा, मामला मुंबई स्थित फर्म शीला सेल्स कॉर्पोरेशन और उसके मालिक अशोक कुमार सिंह से संबंधित है। संलग्न अचल संपत्तियों में मुंबई में तीन फ्लैट और जौनपुर में दो प्लॉट शामिल हैं। ये अचल संपत्ति व्यवसायी और उसके परिवार के सदस्यों के नाम पर खरीदी गई थी।
शुरुआत में उनके खिलाफ उत्तर प्रदेश पुलिस ने मामला दर्ज किया था। बाद में ईडी ने व्यापारी और उसकी फर्म के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग की जांच शुरू की।
अधिकारी ने कहा, ईडी ने उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा प्राथमिकी के आधार पर मनी लॉन्ड्रिंग जांच शुरू की। हमारी जांच से पता चला है कि शीला सेल्स कॉर्पोरेशन ने माल की वास्तविक आपूर्ति के बिना जय बजरंग ट्रेडर्स के नाम पर 352.9 करोड़ रुपये के नकली चालान पर जुलाई 2017 से सितंबर 2019 के दौरान 63.5 करोड़ रुपये के इनपुट टैक्स क्रेडिट (आईटीसी) का लाभ उठाया।
अधिकारी ने कहा कि उन्होंने इस संबंध में व्यवसायी, उसके कर्मचारियों के बयान दर्ज कर लिए हैं।
फर्म के चार्टर्ड अकाउंटेंट से अन्य व्यापारियों के साथ उसके व्यवहार और पिछले कुछ वर्षों के पैसे के लेन-देन के बारे में भी पूछताछ की गई।
ईडी अधिकारी ने कहा कि मामले में आगे की जांच जारी है।
--आईएएनएस
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