नीतीश की एकमात्र उपलब्धि येन-केन-प्रकारेण सत्ता का नेतृत्व - तारिक अनवर

पटना, 24 नवंबर (आईएएनएस)। अखिल भारतीय कांग्रेस कमिटी के महासचिव और केरल के प्रभारी तारिक अनवर ने बुधवार को यहां कहा कि 15 साल के नीतीश कुमार के शासन काल में एकमात्र उपलब्धि यह रही है कि वे येन-केन-प्रकारेण सत्ता का नेतृत्व ले ले रहे हैं। उन्होंने कहा कि उनके शासन काल में शिक्षित बेरोजगारों की भरमार, अपराधियों का अंबार, स्वास्थ्य एवं शिक्षा भी बेकार और घोटालों का अंबार लगा हुआ है।
नीतीश की एकमात्र उपलब्धि येन-केन-प्रकारेण सत्ता का नेतृत्व - तारिक अनवर
नीतीश की एकमात्र उपलब्धि येन-केन-प्रकारेण सत्ता का नेतृत्व - तारिक अनवर पटना, 24 नवंबर (आईएएनएस)। अखिल भारतीय कांग्रेस कमिटी के महासचिव और केरल के प्रभारी तारिक अनवर ने बुधवार को यहां कहा कि 15 साल के नीतीश कुमार के शासन काल में एकमात्र उपलब्धि यह रही है कि वे येन-केन-प्रकारेण सत्ता का नेतृत्व ले ले रहे हैं। उन्होंने कहा कि उनके शासन काल में शिक्षित बेरोजगारों की भरमार, अपराधियों का अंबार, स्वास्थ्य एवं शिक्षा भी बेकार और घोटालों का अंबार लगा हुआ है।

बिहार कांग्रेस मुख्यालय सदाकत आश्रम में आयोजित एक संवाददाता सम्मेलन में उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार के पंद्रह साल में जनता का बुरा हाल हो चुका है। शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार और सुरक्षा के न होने से बिहार अपने बुरे दौर से गुजर रहा है।

उन्होंने कहा कि 15 साल के नीतीश कुमार के शासन काल में एकमात्र उपलब्धि किसी भी तरह सत्ता का नेतृत्व लेना है। उन्होंने कहा कि उनके शासन काल में शिक्षित बेरोजगारों की भरमार, अपराधियों का अंबार, स्वास्थ्य एवं शिक्षा भी बेकार और घोटालों का अंबार लगा हुआ है।

अनवर ने जोर देकर कहा, उनकी ही सहयोगी भाजपा की केंद्र में सरकार है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली नीति आयोग की रिपोर्ट में बिहार हर मोर्चे पर विफल हो चुका है ऐसी रिपोर्ट आई है।

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता तारिक अनवर ने कहा कि बिहार में राज भवन बनाम सरकार का टकराव खुलेआम हो चुका है। उन्होंने कहा कि बिहार के अनेक विश्वविद्यालयों में अवैध नियुक्ति, आउटसोसिर्ंग और पैसों का फर्जीवाड़ा जिस प्रकार से प्रकाश में आया है, यह दर्शाता है कि राजभवन एवं सरकार मिलकर लूट की खुली छूट का मजा ले रहे हैं।

उन्होंने कहा, बिहार के विश्वविद्यालयों में हुए फर्जीवाड़ों की जांच सीबीआई या स्वतंत्र एजेंसी से करानी चाहिए, जिससे पूरा मामला लोगों के सामने आ सके।

--आईएएनएस

एमएनपी/एएनएम

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