Shani ke prakop se kaise bache अब शनि नही करेंगे परेशान, ऐसे उपाय जिसमे बिना पैसे खर्च करे जानिए शनि को कैसे खुश करें 

 शनि को न्याय का देवता माना जाता है ,जिसके जैसे कर्म होते हैं वैसा ही दंड भी मिलता है 
Shani ke upay
जो लोग धार्मिक प्रवृत्ति के होते हैं और लोगों की मदद करते रहते हैं ,शनि उनको परेशान नही करते हैं 

शनि ग्रह का प्रभाव ,जानिए बिना कोई पैसा खर्च किये कैसे बचें शनि से होने वाले नुकसान से 


आज के बाद शनि ग्रह के बारे में बदल जाएगी आपकी  सोच ,कुछ आदतें बदल लें शनि राजा बना देगा 

शनि उन्ही लोगों को परेशान करता है जिनके कर्म नही ठीक होते हैं वरना शनि के खराब होने पर समस्या तो आ सकती है लेकिन बहुत परेशान नही होती है । जबकि अगर शनि किसी से खुश ही जाए तो इतना दे सकता है जिसकी कल्पना।भी नही की जा सकती है ।


शनि ग्रह का फल 

इस समय जैसा कि देखा जा रहा है कि सारे चैनलों पर और सोशल मीडिया पर शनि ग्रह के प्रभाव के बारे में बताया जा रहा है और बताया जा रहा है कि शनि ग्रह का प्रभाव अगर भैया साढ़ेसाती अगर यह सारी चीजें हैं तो किस से काफी नुकसान होता है लेकिन उसका डर दिखाकर लोगों से कई लोग जो है धन उगाही भी कर रहे हैं लेकिन जो सही बात है वह कोई भी नहीं बता रहा है या बताने से बचते हैं कुछ जो योग्य ज्योतिषी हैं वह इस बारे में बहुत ही सरल उपचार बताते रहते हैं शनि को खुश करने के लिए कुछ बहुत ही आसान से उपाय हैं जिसको अगर अपना लिया जाए किसी पर उनका दुष्प्रभाव नहीं होता है और शनि की कृपा बनी रहती है।

शनि ग्रह का प्रभाव और दुष्प्रभाव दोनों इस बात पर भी निर्भर करता है कि व्यक्ति की कुंडली में शनि का स्थान कहां है अगर शनि ऐसे स्थान पर है जहां पर लाभ दे सकता है तो एक व्यक्ति की कुंडली में शनि लाभ स्थान पर है उसको कोई भी नुकसान नहीं होता है और यहां तक कि फायदा ही फायदा होता है और शनि की उसके ऊपर कृपा हो जाती है अगर वह अपने सही प्रोफेशन में रहता है तो उसकी प्रगति सुनिश्चित है और दिनों दिन तरक्की होती चली जाती है।

शनि ग्रह के बारे में विशेषता  यह भी जानने की जरूरत है कि शनि को ज्योतिष शास्त्र में एक अशुभ ग्रह माना गया है और कहा जाते कि समिति दहिया साढ़ेसाती अगर चलती है तो इसमें व्यक्ति को काफी नुकसान भी होता है लेकिन शनि ग्रह के बारे में बताया गया है कि यह छठे आठवें और बारहवें भाव का कारक है।


बहुत सीधी सी बात जानने वाली है कि शनि न्याय का देवता माना जाता है और यह कर्मों के आधार पर न्याय करते हैं ऐसे में जो भी व्यक्ति धार्मिक ऐलान करने में विश्वास रखते हैं लोगों का भला करते रहते हैं ऐसे लोगों का शनि कोई भी नुकसान नहीं करते करना यह है की शनि को खुश करने के लिए पहले अपने कर्मों को सुला रहे हैं अगर चोरी बेईमानी छल कपट ही करते रहना है तो कोई भी पूजा पाठ आपको शनि के प्रकोप  से बचा नहीं सकता इसलिए अपने कर्मों को सुधारें लोगों की मदद करते रहे लोगों का भला करते रहें तो शनि आपको कभी भी परेशान नहीं करेंगे।


शनि ग्रह से नुकसान 

शनि की ढैया साढ़े साती से लोगों को काफी परेशानी होती है । काम बनते बनते बिगड़ जाता है । घर के इलेक्ट्रॉनिक आइटम खराब होने लगते हैं जूते चप्पल फटने लगेंगे वकील और डॉक्टर को पैसा जाना शुरू हो जाएगा आमदनी के स्रोत रुक जाते हैं । 
यह सब ऐसे लक्षण हैं जो बताता है कि शनि का असर आपके जीवन पर चल रहा है ।

शनि ग्रह के उपाय ,शनि देव को कैसे खुश करें ?

शनि ग्रह को खुश रखने के लिए पहले तो अपने अंदर ही बदलाव लाएं । चींटी को आटा खिलाना शुरू कर दे । गरीब जो वाकई में गरीब हैं उनकी मदद करें और बीमारों की मदद करें जिस भी स्तर पर आप है उस स्तर पर मदद करें । आप दूसरों के कष्ट काटें आपके कष्ट खुद कटेंगे । हो सके तो दान भी करें वह किसी भी तरह का हो सकता है । निश्वार्थ सेवा भी समय का दान ही है ।

शनि कब अच्छे फल देते हैं ?

 ज्योतिषियों के कहना है कि लग्न से शनि अगर 
भाव 3, 6,10, या 11 में  है तो शुभ फल देते हैं इसी  जगह प्रथम, द्वितीय, पंचम या सप्तम भाव में अगर शनि है तो नुकसान करता है उसी जगह चतुर्थ, अष्टम या द्वादश भाव में होने पर ज्यादा  नुकसान होता है। 
ज्योतिषियों के यह भी मानना है कि। यदि किसी व्यक्ति  का जन्म शुक्ल पक्ष  में रात में हुआ हो और उस समय शनि वक्री रहा हो तो शनिभाव बलवान होने के कारण शुभ फल प्रदान करता है। 

36 एवं 42 वर्ष की उम्र में अति बलवान होकर शुभ फल प्रदान करता है। उक्त अवधि में शनि की महादशा एवं अंतर्दशा कल्याणकारी होती है। 

भाव के अनुसार जानिए शनि का क्या असर होता है 
शनि अगर प्रथम भाव मे है तो उस व्यक्ति की लाइफस्टाइल कहा जाता है कि राजाओं जैसी रहती हैं। लेकिन अगर शनि प्रथम भाव मे भी रहकर वक्री हो गया तो व्यक्ति को जीवन से विरक्ति हो जाती है और अपने को अलग थलग कर लेता है ।

शनि देव का मंत्र 


शनि चालीसा का भी पाठ कर सकते हैं । शनि देव का मंत्र ॐ सं शनिश्चराय नमः का पाठ कर सकते हैं ।

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