सावन में हर हर महादेव, घर घर महादेव का उद्घोष करते हुए शिव आराधना करेंगे भक्तजन: अम्बरीष

In the month of Saavan, devotees will worship Shiva by chanting Har Har Mahadev, Ghar Ghar Mahadev: Ambrish
 
In the month of Saavan, devotees will worship Shiva by chanting Har Har Mahadev, Ghar Ghar Mahadev: Ambrish
उत्तर प्रदेश डेस्क लखनऊ (आर एल पाण्डेय)। हरदोई शिव सत्संग मण्डल के  अम्बरीष कुमार सक्सेना ने बताया कि शिव भक्त अपने अपने घरों में हर हर महादेव, घर घर महादेव का नारा बुलंद करते हुए पूरी आस्था,श्रद्धा और विश्वास के साथ शिव अर्चना करेंगे।कांवड़ यात्रा भी बड़ी संख्या में होगी।


भगवान शंकर का प्रिय महीना सावन मास 22 जुलाई से शुरू होने वाला हैं। इस साल सावन मास केवल 29 दिन का रहेगा। भगवान भोले बाबा की श्रद्धालु प्रार्थना करते नजर आएंगे।सावन के महीने को श्रावण के नाम से भी जाना जाता है। यह पावन माह भोले बाबा के भक्तों के लिए बेहद खास होता है।सावन मास में नदियों से जल भरकर कांवड़ लाई जाती है।सावन शुरू होते है कांवड़ यात्रा भी शुरू हो जाएगी। सावन माह पूरे देशभर में बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है।श्रावण का महीना इस बार 22 जुलाई से शुरू होगा और इस माह का समापन 19 अगस्त को होगा। यानी कि सावन 29 दिनों के रहेंगे। जिसमें सावन के 05 सोमवार पड़ेंगे।

 
सावन में शिव की आराधना का विशेष महत्व है । इसलिए सावन शुरू होते ही चारों तरफ हर हर  बम–बम की गूंज और शिव भक्तों के जयकारे सुनाई देने लगते हैं। इस माह में विधि पूर्वक शिवजी की आराधना करने से मनुष्य को शुभ फल की प्राप्ति होती है । सावन में शिव शंकर की पूजा,रुद्राभिषेक, शिव स्तुति, मंत्र,शिव नाम से जाप का खास महत्व है। खासकर सोमवार के दिन महादेव की आराधना से शिव प्रसन्न होते हैं और इनकी कृपा से दैविक, दैहिक और भौतिक कष्टों से मुक्ति मिलती है।


इस माह में भगवान शिव के रुद्राभिषेक का विशेष महत्व है। इसलिए इस माह में, खासतौर पर सोमवार के दिन रुद्राभिषेक करने से भगवान शिव बेहद प्रसन्न होते हैं ।सावन में शिव पूजा अमोघ फल देने वाली मानी गई है ।खास तौर पर महिलाएं सावन मास में विशेष पूजा–अर्चना और व्रत–उपवास रखकर पति की लंबी आयु की प्रार्थना भोलेनाथ से करती हैं।सावन के महीने में ही शिव भक्त,गंगा या पवित्र नदियों के जल को मीलों की दूरी तय करके लाते हैं और भगवान शिव का जलाभिषेक करते हैं। शिव भक्त कांवड़ यात्रा को आस्था का प्रतीक मानते हैं। शिव भक्तों का विश्वास है कि, कांवड़ यात्रा के दौरान जो शिवभक्त तमाम कष्टों को सहते हुए गंगाजल लाकर शिवलिंग पर अर्पित करते हैं,भोलेनाथ उनके तमाम कष्टों को हमेशा के लिए हर लेते हैं।


29 दिवसीय सावन में इस बार कई कांवड़ यात्राएं निकलेंगी।शिवालयों पर प्रतिदिन श्रद्धालु भक्त शिव अर्चना करेंगे। शिव सत्संग मण्डल आश्रम स्थित सिद्धनाथ बाबा मंदिर हुसेनापुर धौकल, शिव संकट हरण बाबा मंदिर सकाहा,तुरंतनाथ मन्दिर, हरदोई,सुनासीर नाथ बाबा मंदिर मल्लावां, मंशा नाथ बाबा मंदिर बिलग्राम, शिवालय संडीला, शिव मंदिर दिबियापुर, भूरेश्वर महादेव मंदिर पिहानी एवं टेढेश्वर नाथ मंदिर नर्मदा स्थल समेत नगरीय एवं ग्रामीण अंचल में शिव मंदिरों पर बड़ी संख्या में भक्तों के पहुंचने की सूचना है।
इसलिए सावन में जब भी समय मिलें और जितना समय मिलें पूरी आस्था और सात्विकता के साथ शिव की आराधना करें। क्योंकि सावन में शिव बहुत जल्द प्रसन्न होते हैं।

उधर आस्था के प्रतीक संकट हरण शिवालय के बारे में कहा जाता है कि सच्चे मन से जिस भक्त ने बाबा के दरबार में मत्था टेका,उसकी मनोकामनाएं पूर्ण हुईं। श्रावण मास में इनके दर्शन मात्र को जिले से नहीं आस पास के जिलों के भक्तों का मेला लगा रहता है।
सैकड़ों साल पुराने मंदिर की भव्यता आज भी वहीं है। सावन भर यहां मेला लगता है। जिला मुख्यालय से 18 किमी दूर हरदोई शाहजहांपुर मार्ग स्थित ग्राम सकाहा प्रसिद्ध शिवालय से आस्था का प्रतीक बना हुआ है। जहां आज मंदिर है, वहां काफी बड़ा जंगल था। किवदंती है कि एक बार वहां कुछ लोग लकड़ियां तोड़ रहे थे। इसी बीच इनमें से किसी को जमीन फटती दिखाई दी। जमीन के अंदर से शिवलिंग प्रकट होते देख लोग नतमस्तक हो गए। बाद में घर ग्रामीण गांव आए। जहां अन्य लोगों को इसकी जानकारी दी गई।
लोगों ने वहां पहुंच कर जलाभिषेक किया और पूजन शुरू कर दिया। धीरे-धीरे शिवलिंग का आकार बढ़ता चला गया। गांव के लोगों की मदद से जंगल का उक्त स्थान साफ कर मंदिर बना दिया गया। यह भी कहा जाता है कि शिव का जमीन से निकलने का रहस्य जानने को गांव के कई लोगों ने जमीन की काफी खुदाई कर दी, पर कुछ पता नहीं लग सका। बताया जाता है कि यहां मन्नत मांगने वाले कभी खाली हाथ वापस नहीं जाते। लोगों के कष्ट बाबा पल में दूर कर देते हैं। जनपद ही नहीं आस पास के जनपदों से भी श्रद्धालुओं की यहां सावन भर भीड़ जुटी रहती है। श्रावण मास भर यहां मेला लगा रहता है।

दूर दूर से बिक्री को लोग यहां दुकानें लगाने आते हैं। बच्चों के लिए खेल खिलौने, झूले व महिलाओं के लिए सौंदर्य प्रसाधनों की दुकानें भी सजती हैं। लोगों का कहना है कि भोले बाबा के दरबार में पहुंचने वाला कोई भी भक्त आज तक निराश नहीं हुआ। यही कारण है कि आस पास जिलों तक के भक्त यहां पर कांवड़ लेकर भोले बाबा की कृपा पाने को आते हैं।जिले की संडीला,शाहाबाद,सवायजपुर,बिलग्राम एवं हरदोई सदर तहसीलों के अंतर्गत आने वाले शिवालयों पर शिव पूजा की विशेष व्यवस्थाएं की गईं हैं।

Tags