इंडिया रिसर्च टूर-2025 लखनऊ पहुँचा: उत्तर प्रदेश में अनुसंधान और नवाचार को मिलेगी नई मजबूती

India Research Tour-2025 reaches Lucknow: Research and innovation will gain new strength in Uttar Pradesh
 
India Research Tour-2025 reaches Lucknow: Research and innovation will gain new strength in Uttar Pradesh

लखनऊ, 14 अक्टूबर 2025।

शिक्षा मंत्रालय और भारतीय सामाजिक विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICSSR) के सहयोग से स्प्रिंगर नेचर द्वारा आयोजित इंडिया रिसर्च टूर 2025 दिल्ली में उद्घाटन के बाद आज लखनऊ पहुँचा। इस महत्वपूर्ण टूर के प्रतिनिधियों ने शहर के प्रतिष्ठित संस्थानों—आईआईएम लखनऊ और इंटीग्रल यूनिवर्सिटी—में शिक्षकों, छात्रों और शोधकर्ताओं के साथ गहन संवाद किया।

इस संवाद का मुख्य उद्देश्य भारत में अनुसंधान की नैतिकता, समावेशिता और नवाचार को बढ़ावा देना है, जिससे स्थानीय शैक्षणिक प्रतिभाओं को वैश्विक शोध मानकों से सफलतापूर्वक जोड़ा जा सके।

ज्ञान के लोकतंत्रीकरण की ओर यात्रा

इंडिया रिसर्च टूर 2025, 6 अक्टूबर से 13 नवंबर 2025 तक अपनी यात्रा के दौरान 7 राज्यों के 15 शहरों में 29 प्रमुख संस्थानों का दौरा करेगा। इस पहल का मुख्य फोकस निम्नलिखित लक्ष्यों को प्राप्त करना है:

  • ओपन एक्सेस (खुली पहुँच) और ओपन साइंस को बढ़ावा देना।

  • अनुसंधान अखंडता (Research Integrity) को मजबूत करना।

  • ई-बुक अपनाने को प्रोत्साहित करना।

  • शोध में विविधता और समावेशन को बढ़ावा देना।

स्प्रिंगर नेचर इंडिया प्राइवेट लिमिटेड के मैनेजिंग डायरेक्टर, वेंकटेश सर्वसिद्धि ने कहा, "उत्तर प्रदेश बौद्धिक विचार, नवाचार और उद्यमशीलता का एक महत्वपूर्ण केंद्र रहा है। आईआईएम लखनऊ और इंटीग्रल यूनिवर्सिटी जैसे संस्थान भारत के भविष्य को आकार देने वाले मेधावी छात्रों का मार्गदर्शन कर रहे हैं। इस टूर के माध्यम से हम राज्य के शैक्षणिक इकोसिस्टम के साथ जुड़ाव मजबूत करेंगे, ज्ञान तक बेहतर पहुँच सुनिश्चित करेंगे, और ओपन साइंस के लिए क्षमता विकसित करेंगे।"

शोध में विविधता और अखंडता पर बल

आईआईएम लखनऊ देश के अग्रणी प्रबंधन संस्थानों में से एक है, जबकि इंटीग्रल यूनिवर्सिटी अंतर-विषयक अनुसंधान और समावेशी शिक्षा को बढ़ावा दे रही है।

इंडिया रिसर्च टूर 2025 के मुख्य स्तंभों में शामिल हैं:

  1. ओपन एक्सेस और ONOS: खुली पहुँच और वन नेशन, वन सब्सक्रिप्शन (ONOS) पहल को बढ़ावा देना।

  2. अनुसंधान अखंडता और AI: अनुसंधान नैतिकता को मजबूत करना और प्रकाशन में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) की भूमिका पर विचार करना।

  3. विविधता और समावेशन: 'हर रिसर्च, आवर फ्युचर' पहल और 'रिसर्च एंबेसडर प्रोग्राम' के माध्यम से शोध में समावेशन को प्रोत्साहित करना।

  4. सतत विकास लक्ष्यों (SDGs) का समर्थन: ज्ञान का लोकतंत्रीकरण करके वैश्विक सतत विकास लक्ष्यों का समर्थन करना।

इस कार्यक्रम के दौरान, स्प्रिंगर नेचर की 'हर रिसर्च, आवर फ्युचर' पहल के तहत आईआईएम लखनऊ और इंटीग्रल यूनिवर्सिटी की 10 महिला शोधकर्ताओं को उनके उत्कृष्ट शोध कार्य के लिए सम्मानित भी किया गया।

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