राजधानी में दो से तीन मंजिल बेसमेंट में चल रही है दुकानें

Shops are running in two to three floor basements in the capital
उत्तर प्रदेश डेस्क लखनऊ(आर एल पाण्डेय)। दिल्ली के एक कोचिंग सेंटर के बेसमेंट में हुयी दुखद् दुर्घटना के बाद सरकार और प्रषासन की नींद खुली। राजधानी में भी प्रषासन ने बेसमेंट में चल रहे कोचिंग सेंटरों पर कार्यवाही षुरू कर दी है। परन्तु सवाल है कि केवल कोचिंग सेंटर ही क्यो? राजधानी के व्यस्ततम् बााजारों में षुमार अमीनाबाद लाटूष रोड, मेडिसिन मार्केट और नाका क्षेत्र की लगभग हर दुकान में बेसमेंट बने है।

जगह की कमी के कारण दुकानदारों ने दो से तीन मंजिल के बेसमेंट खुदवा रखे है। जो गोदाम के रूप में नहीं बल्कि षोरूम व अन्य व्यवसायिक गतिविधियों के लिये इस्तेमाल किये जाते है। जिनको नगर निगम, एलडीए व प्रषासन नजर अंदाज किये रहते है।  जबकि इनमें हर समय सैंकड़ों की संख्या में ग्राहक व कर्मचारी माजूद रहते है। साथ ही आपदा प्रबन्धन के उपाय भी नाकाफी है।


नाका का याराना सेल्स तीन मंजिल बेसमेंट में संचालित है मेडिसिन मार्केट लाटूष रोड, अमीनाबाद के प्रतापमार्केट आदि की लगभग सभी दुकानों में बेसमेंट में व्यवसायिक गतिविधियां संचालित हो रही है। जिस पर प्रषासन उदासीन बना है। बस कोचिंग सेंटरों को नोटिस दे रहा है। या फिर बरसात के मौसम में राजधानी में किसी बड़ी दुर्घटना हो जाने और फिर लकीर पीटने के लिये तैयार बैठा है।

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