सूर्य नमस्कार को सबसे महत्वपूर्ण योग अभ्यासों में से एक माना जाता है
सूर्य को सूर्य देवता माना जाता है, जिन्हें ब्रह्मांड का निर्माता माना जाता है, और वैदिक परंपरा में सूर्य चेतना और ईश्वर का प्रतीक है। इस प्रकार, सूर्य नमस्कार को सबसे महत्वपूर्ण योग अभ्यासों में से एक माना जाता है।फैकल्टी ऑफ़ योग एंड अल्टरनेटिव मेडिसिन के कोर्डिनेटर डॉ.अमरजीत यादव ने बताया कि सूर्य नमस्कार योगासनों में सर्वश्रेष्ठ है। यह अकेला अभ्यास ही हमारे सम्पूर्ण शरीर का व्यायाम करा देता है। इसके दैनिक अभ्यास से हमारा शरीर निरोगी, स्वस्थ और चेहरा ओजपूर्ण हो जाता है। महिलायें,पुरुष, बच्चे,वृद्ध, सूर्य नमस्कार सभी के लिए बहुत लाभदायक होता है|
इसके अभ्यास से पेट की चर्बी घटती है, शरीर को डीटॉक्स करता,मन की हर चिंता और तनाव को दूर करता है,शरीर में लचीलापन लाता है,मासिक धर्म को नियमित करता है,अंतर्दृष्टि विकसित होती है,हड्डियाँ मज़बूत बनती है, मांसपेशियों में लचीलापन आता है रक्त का संचार संतुलित मात्रा में होता है,एकाग्रता बढ़ती है। इस अवसर पर डॉ रामकिशोर,शोभित सिंह,रोमा हेमवानी,मोनिका सिंह,पीयूष तिवारी, अभिषेक साहू,प्रतीक केसरवानी,आशा राजवंशी,शुभांगी,सपना कुशवाहा, शिखर शुक्ला,संजना कुशवाहा नम्रता मिश्रा ने सूर्यनमस्कार किया।