धरोहर या विरासत के हम मालिक नहीं हैं अपितु रखवाले हैं
प्रदर्शनी का लोकार्पण मुख्य अतिथि सुमोना पांडेय ने किया। तदोपरांत आयोजित प्रतियोगिता के विजेताओं स्मृति चिन्ह एवं प्रमाणपत्र वितरित कर उनका उत्साहवर्धन किया। निबंध लेखन में निकिता, आयशा तारिक, सीता श्रीवास्तव क्रमशः प्रथम, द्वितीय, तृतीय एवं सिमरन एवं सलोनी को सांत्वना पुरस्कार, पोस्टर प्रतियोगिता में खुशी, सिमरन, पलक को क्रमशः प्रथम, द्वितीय, तृतीय एवं मुस्कान व दीपिका को सांत्वना पुरस्कार प्रदान किया गया। प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता में नेहा कुमारी (नवयुग), स्नेहा द्विवेदी ( गुरुनानक), साक्षी सिंह (नवयुग) क्रमशः प्रथम, द्वितीय, तृतीय एवं स्वाती व निकिता दोनों नवयुग को सांत्वना पुरस्कार प्रदान किया गया।
कार्यक्रम की मुख्य अतिथि जी ने हमारी हिंदी भाषा को हमारी अमूल्य धरोहर के रूप परिभाषित किया और अधिक से अधिक प्रचलन में लाने के लिए जोर दिया। कार्यक्रम में उपस्थित रेनू द्विवेदी, निदेशक, उ0प्र0 राज्य पुरातत्व निदेशालय ने धरोहर के संरक्षण पर जोर दिया और उन्होंने बताया कि धरोहर या विरासत के हम मालिक नहीं है अपितु रखवाले है
जो इन धरोहरों को आगे जाने वाली पीढ़ियों को सुरक्षित सौंप सके। अंत में नवयुग महाविद्यालय की प्राचार्या एवं कार्यक्रम की अध्यक्षा प्रो0 मंजुला उपाध्याय ने सभी अतिथियों को धन्यवाद ज्ञापित। इस अवसर पर नवयुग कन्या महाविद्यालय की डॉ0 संगीता शुक्ला, डॉ0 अंबिका बाजपेई, डॉ0 आभा पाल जी सहित नारी शिक्षा निकेतन, नवयुग कन्या महाविद्यालय, गुरुनानक गर्ल्स डिग्री कॉलेज, नवयुग कन्या इंटर कॉलेज, खूनखून जी गर्ल्स, कालीचरण पीजी महाविद्यालय की शिक्षिकाएं विद्यार्थियों सहित उपस्थित रही। पुरातत्व निदेशालय से डॉ0 राजीव कुमार त्रिवेदी, ज्ञानेंद्र कुमार रस्तोगी, डॉ0 कृष्ण मोहन दुबे, बलिहारी सेठ, संतोष सिंह, दरियाब सिंह, अभिषेक कुमार एवं निर्भय रावत आदि उपस्थित रहे।