कनाडा में रह रहे गैंगस्टर के सहयोगी पर 10 लाख रुपये इनाम का ऐलान

नई दिल्ली, 23 मई (आईएएनएस)। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने मंगलवार को कश्मीर सिंह गलवड्डी उर्फ बलबीर सिंह के सिर पर 10 लाख रुपये के नकद इनाम की घोषणा की है। माना जाता है कि बलबीर कनाडा स्थित गैंगस्टर अर्शदीप सिंह डल्ला का सहयोगी है।
कनाडा में रह रहे गैंगस्टर के सहयोगी पर 10 लाख रुपये इनाम का ऐलान
नई दिल्ली, 23 मई (आईएएनएस)। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने मंगलवार को कश्मीर सिंह गलवड्डी उर्फ बलबीर सिंह के सिर पर 10 लाख रुपये के नकद इनाम की घोषणा की है। माना जाता है कि बलबीर कनाडा स्थित गैंगस्टर अर्शदीप सिंह डल्ला का सहयोगी है।

बलबीर पर प्रतिबंधित आतंकवादी संगठनों की आतंकवादी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगाया गया है। इसके अलावा, उस पर गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम की धाराओं के तहत भी मामला दर्ज किया गया है। एनआईए ने बलबीर की दो तस्वीरें भी जारी की हैं।

हाल ही में एनआईए ने इसी मामले में डल्ला के दो सहयोगियों अमृतपाल सिंह और अमृत सिंह को गिरफ्तार किया था। दोनों फिलीपींस में छिपे हुए थे और राष्ट्रीय राजधानी में इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हवाईअड्डे पर पहुंचने पर एनआईए ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया था।

एनआईए के एक अधिकारी ने कहा कि दिल्ली में एनआईए की एक अदालत ने उनके खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी किया था। अधिकारी ने कहा कि वे पंजाब में हुए कई आपराधिक मामलों में भी वांछित थे। एनआईए ने पिछले साल 20 अगस्त को उनके खिलाफ आईपीसी और यूएपीए की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया था।

एनआईए ने कहा कि जांच से पता चला है कि आरोपियों ने प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन खालिस्तान टाइगर फोर्स (केटीएफ) के लिए धन जुटाने और सीमा पार से केटीएफ के लिए हथियारों, गोला-बारूद तथा विस्फोटकों की तस्करी के लिए एक आपराधिक साजिश रची थी।

आरोपी भारत में केटीएफ की हिंसक आपराधिक गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए अर्शदीप सिंह डल्ला के लिए काम कर रहे थे। एक अन्य कुख्यात वांछित आरोपी मनप्रीत सिंह के सहयोग से वे पाकिस्तान से हथियारों की तस्करी और केटीएफ के इशारे पर देश में हिंसा और आतंक के कृत्यों को अंजाम देने के लिए युवाओं की भर्ती में शामिल थे।

एनआईए अधिकारी ने कहा कि वे प्रतिबंधित संगठन के लिए धन जुटाने के एक जबरन वसूली रैकेट का भी हिस्सा थे। आरोपी बड़े कारोबारियों को टारगेट करके उन्हें धमकी देते थे और उनसे जबरन वसूली करते थे।

--आईएएनएस

एफजेड/एसजीके

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