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Vastu Tips For Money : नवरात्रि में करें निवेश, वास्तु के अनुसार

Chaitra Navratri 2025 ( ज्योतिषी एवं वास्तु सलाहकार रजत सिंगल जी ) : यदि आप नवरात्रि के शुभ अवसर पर संपत्ति में निवेश करने का विचार कर रहे हैं या अपने सपनों का घर खरीदना चाहते हैं, तो यह सुनिश्चित करें कि वह संपत्ति वास्तु सिद्धांतों के अनुरूप हो। सही वास्तु के अनुसार संपत्ति में निवेश करने से समृद्धि और आर्थिक वृद्धि सुनिश्चित होती है।
कुछ लोगों का मानना है कि बहुमंजिला इमारतों में निवेश करना लाभकारी नहीं होता क्योंकि वहाँ पृथ्वी की गुरुत्वाकर्षण शक्ति कम होती है, जबकि भूखंडों में निवेश अधिक लाभदायक होता है। लेकिन यह पूरी तरह से सही नहीं है। ऊँची इमारतों में गुरुत्वाकर्षण के स्थान पर कॉस्मिक ऊर्जा, इमारतों का संतुलन बनाती है।
अपने निवेश से अधिकतम लाभ प्राप्त करने के लिए ज्योतिषी एवं वास्तु सलाहकार रजत सिंगल जी के अनुसार इन वास्तु सुझावों का पालन करें:
- नींव की खुदाई सही दिशा में करें। यदि खुदाई गलत दिशा से होती है तो बाधाओं का सामना करना पड़ सकता है।
- बहुमंजिला पार्किंग का निर्माण दिशाओं के अनुसार करें ताकि ऊर्जा का प्रवाह सही बना रहे।
- दक्षिण-पश्चिम दिशा भारी होनी चाहिए। यदि प्राकृतिक रूप से ऊँचाई नहीं है, तो इस दिशा में बहुमंजिला इमारत या कोई भारी संरचना लाभकारी होती है।
- चारों ओर जल स्रोत होना शुभ होता है। जैसे समुद्र, झील, या बहता जल—यह संपत्ति के लिए सकारात्मक ऊर्जा लाता है। मुंबई एवं दुबई पानी से घिरे होने के कारण ही आज इतने समृद्ध हैं।
- भवन के चारों ओर खुली जगह होनी चाहिए। उत्तर और पूर्व में अधिक स्थान छोड़ना शुभ माना जाता है।
- भूमि की ढलान उत्तर और पूर्व दिशा की ओर होनी चाहिए। दक्षिण और पश्चिम को समतल रखना उचित होता है।
- पानी की टंकी का स्थान उचित रखें। भूमिगत टंकी के लिए उत्तर-पूर्व दिशा उत्तम है, जबकि ऊपरी टंकी के लिए दक्षिण-पश्चिम दिशा श्रेष्ठ मानी जाती है।
- भवन में वायु संचार सही होना चाहिए। स्वच्छ वायु का प्रवाह बाधित नहीं होना चाहिए।
- भवन की ऊँचाई समीप के भवनों से कम नहीं होनी चाहिए। अन्यथा, ऊर्जा असंतुलन के कारण विकास बाधित हो सकता है।
ज्योतिषी एवं वास्तु सलाहकार रजत सिंगल जी के अनुसार यदि इन वास्तु सिद्धांतों को ध्यान में रखकर निवेश किया जाए, तो यह दीर्घकालिक सफलता, समृद्धि और स्थिरता प्रदान करता है। वास्तु सम्मत निवेश से उन संपत्तियों की तुलना में अधिक लाभ प्राप्त होता है, जहाँ इन नियमों की अनदेखी की गई हो |