लखनऊ में ऐश्प्रा फाउंडेशन की ओर से 37वें नि:शुल्क आरओ प्लांट का उद्घाटन

Inauguration of 37th Free RO Plant by ASHPRA Foundation in Lucknow
 
Inauguration of 37th Free RO Plant by ASHPRA Foundation in Lucknow

लखनऊ डेस्क (आर. एल. पाण्डेय):
ऐश्प्रा फाउंडेशन की जनकल्याणकारी पहल के अंतर्गत हरि प्रसाद गोपी कृष्ण सराफ प्रा. लि. द्वारा डॉ. राम मनोहर लोहिया इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज़, लखनऊ में बुधवार को 37वें नि:शुल्क आरओ चिल्ड वॉटर प्लांट का शुभारंभ किया गया।

मुख्य अतिथि के रूप में संस्थान के निदेशक प्रो. (डॉ.) सी.एम. सिंह ने प्लांट का उद्घाटन किया। इस अवसर पर मुख्य चिकित्सा अधीक्षक प्रो. विक्रम सिंह और चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अरविंद कुमार सिंह भी विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। कार्यक्रम में ऐश्प्रा के प्रतिनिधियों के साथ-साथ बड़ी संख्या में स्थानीय नागरिकों और विशिष्ट जनों ने भाग लिया।

स्वस्थ समाज और जल सुरक्षा की दिशा में प्रभावी कदम

प्रो. (डॉ.) सी.एम. सिंह ने ऐश्प्रा फाउंडेशन के इस प्रयास की सराहना करते हुए कहा, “इस प्लांट से संस्थान में आने वाले मरीजों, तीमारदारों और अन्य लोगों को स्वच्छ और ठंडा पेयजल आसानी से मिल सकेगा। साथ ही यह समाज में स्वच्छ जल और जल-संरक्षण के प्रति जागरूकता बढ़ाने का एक प्रेरणादायक प्रयास है।”

प्रो. विक्रम सिंह ने इसे स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता को बढ़ावा देने वाला कदम बताया और कहा कि स्वच्छ पेयजल की सुविधा बीमारियों की रोकथाम में सहायक होगी।
डॉ. अरविंद कुमार सिंह ने तकनीकी पहलू साझा करते हुए बताया कि यह संयंत्र भूजल को शुद्ध कर उपयोग योग्य बनाता है और अवशिष्ट जल को पुनः भूगर्भ में भेजकर जल संरक्षण सुनिश्चित करता है।

सामाजिक दायित्व निभाने की प्रेरणा

ऐश्प्रा जेम्स एंड ज्वेल्स के निदेशक श्री अतुल सराफ और श्री अनूप सराफ ने बताया कि संस्था केवल शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराने तक सीमित नहीं है, बल्कि जल शुद्धिकरण में होने वाली अपव्यय को भी रोकने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने यह भी कहा कि लोगों को जल संचयन और जल संकट के प्रति जागरूक करना आज की सबसे बड़ी जरूरत है।

यह आरओ प्लांट न केवल समाज को शुद्ध जल उपलब्ध कराएगा, बल्कि जल संरक्षण और स्वास्थ्य जागरूकता की दिशा में भी एक सशक्त पहल है। ऐश्प्रा फाउंडेशन की यह मुहिम भविष्य में स्वच्छ और जल-सुरक्षित भारत के निर्माण की दिशा में मील का पत्थर साबित हो रही है।

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