सर्वांगीण सुसंस्कार शिविर ने बच्चों के अंदर राष्ट्र प्रेम की माला पिरोई: रमेश भइया

The Sarvangin Susanskar Camp instilled patriotism in children: Ramesh Bhaiya
 
The Sarvangin Susanskar Camp instilled patriotism in children: Ramesh Bhaiya

लखनऊ डेस्क (आर एल पाण्डेय )। राष्ट्रधर्म प्रचार समिति महाराष्ट्र और विनोबा विचार प्रवाह के संयोजन में बरतारा और गांव छीतेपुर में संचालित श्रीगुरुदेव सर्वांगीण सुसंस्कार शिविर को एक सप्ताह बीत गया। बाबा विनोबा की संख्या 9 अप्रैल को शिविरार्थी बच्चों का परिचय सत्र में अधिकतर बच्चे अपना नाम लेने में भी झिझक रहे थे।आज यह नजारा बदला हुआ दिखाई पड़ा।

बच्चों में यह होड़ लगी है कि बोलने और भाषण करने में मेरा नाम लिखो। गोपाल गुरु जी ने कितनी कथा कहानियां सुनाई हैं। तबले का प्रशिक्षण किसी बच्चे ने नहीं लिया लेकिन प्रबंधक बृजेंद्र अवस्थी ने इसलिए लिया क्योंकि रोज शाम को आश्रम की होने वाली प्रार्थना में तबला बज सकेगा।रूपेश मोरे गुरु जी ने भजनों की पूरी किताब संस्कार प्रदीप में से अधिकतर गीत बच्चों को रटाए हैं।

Po

तभी तो उनका संकेत मात्र बच्चों के होंठों को बरबस खोल देता है।फिर चाहें कोई गीत हो बच्चे ही गाते दिखाई देते हैं। बहन गोरी देशमुख ने लेजिम इतने प्रकार का सिखाया है कि लगातार एक दो तीन चार होता रहता हैं।म्यूजिक पर लेजम की प्रैक्टिस बच्चे कर रहे हैं।करें भी क्यों न कल 18 अप्रैल को दोनों शिविरों का समापन है।हर बच्चा अपने को कल की प्रदर्शन की सूची में देखना चाहता है। गणेश दरबरे गुरु जी ने तो लड़के लड़कियों दोनों वर्ग में लाठी की सुंदर शिक्षा दी है। कविता बहन की राष्ट्र वंदना और प्रार्थना सायं 6 बजे से हर बच्चा गुनगुनाने लगता है। जयघोष तो बहुत जोर लगाते हैं। और दीपदान आसन तो कठिन होते हुए भी कई बच्चों ने सीखा है। लेकिन छीतेपुर के नितिन ने तो आश्चर्य ही कर दिया हैं। कि वह पांच दीपक अपने हाथ मुंह और तमाम अंगों पर रखकर कठिन आसन लगाने का अभ्यास कर रहा है। गांव की तमाम बहनें आस्था बहन जो परिसर में चल रहे सिलाई स्कूल में शिक्षिका है।

उनके पास आकर बैठती है और अपने बच्चों के खेलों को देखकर खुश होती हैं। यद्यपि यह समय खेती में गेहूं कटाई आदि में बच्चे अपने माता पिता की मदद करते हैं या शीला बीनते हैं।फिर भी शिविर में कुछ बच्चे तो सीखने लगातार आए हैं। श्रीसद्गुरु मंडल संपूर्ण देश में हर वर्ष 60 के लगभग प्रशिक्षण शिविर आयोजित करता है। अभी पिछला शिविर सेवाधाम उज्जैन मध्यप्रदेश में पंद्रह दिन का हुआ था। जिसके सिखाए हुए बच्चों के प्रदर्शन को देखने मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव अपना जन्मदिन मनाने आश्रम पर आए थे।बच्चों ने मलखंभ के प्रदर्शन ने तो उनका दिल ही जीत लिया था।

ऐसा वहां के प्रमुख डॉ सुधीर भाई गोयल ने विनोबा विचार प्रवाह को सूचित किया। शिविर ने यहां पर भी राष्ट्र भक्ति का माहौल तो बना ही दिया है। प्राथमिक स्कूल के अनेक शिक्षक कौशल सक्सेना के नेतृत्व मे बच्चों का प्रदर्शन देखने स्कूल समय के बाद पहुंचते हैं। कल के समापन समारोह में ईमानदारी और परिश्रम के प्रतिमूर्ति मिजाजी लाल जेल अधीक्षक को आशीर्वाद देने हेतु आमंत्रित किया गया है। शिक्षा के प्रमुख आचार्य केशव चंद्र मिश्र, समाजसेवी ओंकार मनीषी, जय अग्रवाल प्रमोद प्रमिल भी आमंत्रित हैं।राजेंद्र पाल सिंह हरवंश कुमार अखिलेश उपाध्याय ब्रह्मदेव भाई अहसान मोहम्मद सभी लोग निरंतर आते ही हैं। व्यवस्था देखने में दिव्या बहन मुदित कुमार के पी सिंह आदि लगे हैं। समापन कार्यक्रम अहिंसा सभागार में प्रस्तावित है जिसकी व्यवस्था सीना शर्मा करेंगी।

Tags