इंडियन बैंक और सामर्थ्या मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड ने किसानों के लिए की साझेदारी

Indian Bank and Samarthya Milk Producer Company Limited partnered for farmers
 
Indian Bank and Samarthya Milk Producer Company Limited partnered for farmers
लखनऊ डेस्क (आर एल पाण्डेय)। इंडियन बैंक और सामर्थ्या मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड ने रायबरेली में एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किया। इस समझौते के तहत, इंडियन बैंक सामर्थ्या डेयरी से जुड़े 85000 से अधिक महिला किसान सदस्यों को डिजिटल माध्यम से 2 लाख रुपये तक का कृषि ऋण (किसान क्रेडिट कार्ड) बिना किसी कोलेटरल के प्रदान करेगा।

इस कार्यक्रम में इंडियन बैंक के मुख्य महाप्रबंधक लखनऊ श्री सुधीर कुमार गुप्ता की गरिमामयी उपस्थिति में लखनऊ अंचल प्रबंधक श्री प्राणेश कुमार एवं सामर्थ्या मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ प्रशांत मान्डव्य ने एमओयू पर हस्ताक्षर किए।

इस अवसर पर इंडियन बैंक की अमेठी, मुंशीगंज, गौरीगंज, जगदीशपुर एवं मुसाफिरखाना की शाखा द्वारा दिए गए ऋण का चेक महिला किसानों को कार्यक्रम के दौरान वितरित किया गया एवं 27 किसानों को ऋण स्वीकृति प्रदान की गई। इस कार्यक्रम में सामर्थ्या डेयरी के वित्त अधिकारी श्री सुजीत, इंडियन बैंक एमएपीसी सहायक महाप्रबंधक श्री शशांक मिश्रा, मुख्य प्रबंधक अंचल कार्यालय लखनऊ मो. फहीम, मुख्य प्रबंधक श्री कुमार आशुतोष, अमेठी जिले के समस्त शाखा प्रबंधक एवं अन्य बैंक अधिकारीगण उपस्थित रहे।

 सामर्थ्या मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी के सीईओ श्री मान्डव्य ने कहा कि  वर्तमान में, सामर्थ्या डेयरी के पास 5 एमसीसी, 30 बीएमसी, 1300 से अधिक एमपीपी और 85,000 से अधिक महिला सदस्य हैं। डेयरी द्वारा स्वचालित दूध परीक्षण और वजन के माध्यम से दूध संग्रह में पारदर्शिता सुनिश्चित करने और प्रत्येक सदस्य द्वारा आपूर्ति किए गए दूध के विवरण के साथ पावती रसीद जारी करने के लिए सभी एमपीपी में जीपीआरएस(डिजिटल) आधारित डेटा प्रोसेसर सह दूध संग्रह इकाई (डीपीएमसीयू) स्थापित की गई है।  उन्होंने बताया कि जल्द ही हमारी कंपनी अपने मूल्यों और मिशन पर चलते हुए उत्तर भारत की डेयरी कंपनियों में अपना पहला स्थान हासिल करेगी और परिचालन क्षेत्र में अपने कर्मचारियों और दूध उत्पादकों की पहली पसंद बनेगी।

इस नए समझौते से किसानों को कई प्रकार के फायदे होंगे, जिनमें किसानों को अब बैंक में न जाकर, वे डिजिटल माध्यम से त्वरित ऋण प्राप्त कर सकेंगे। जिससे किसानों को मध्यस्थों एवं बिचौलियों से मुक्ति मिलेगी। इसमें किसानों को ऋण लेने के लिए किसी संपत्ति को गिरवी रखने की जरूरत नहीं होगी। ऋण मिलने से किसान अपने पशुओं की देखभाल बेहतर ढंग से कर सकेंगे और दूध का उत्पादन बढ़ा सकेंगे।
ऋण द्वारा मिलने वाली राशि से किसान अपनी आर्थिक स्थिति और भी सुदृढ़ कर सकेंगे।

इंडियन बैंक के मुख्य महाप्रबंधक लखनऊ श्री सुधीर कुमार गुप्ता ने कहा कि, "उत्तर प्रदेश तेजी से विकसित हो रहा है और हम इस विकास में अपना योगदान देना चाहते हैं। इस एमओयू के माध्यम से हम महिला किसानों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने में मदद करेंगे।"
हम किसानों के कल्याण के लिए प्रतिबद्ध हैं। इस समझौते से हमारी महिला किसानों को बड़ा आर्थिक फायदा होगा और महिला सशक्तिकरण की तरफ बढ़ाया हुआ यह एक अहम कदम होगा।

अंचल प्रबंधक लखनऊ श्री प्राणेश कुमार ने बताया कि इंडियन बैंक की उत्तर प्रदेश में 1081 शाखाएं, 536 एटीएम और 4343 बीसी लोकेशन हैं। बैंक ग्राहकों की जरूरतों के अनुसार डिजिटल उत्पाद विकसित कर रहा है ताकि ग्राहकों को बेहतर सेवाएं मिल सकें।

इंडियन बैंक के मुख्य महाप्रबंधक लखनऊ श्री सुधीर कुमार गुप्ता ने इस एमओयू की सफलता के लिए सभी को शुभकामनाएं दीं और किसानों से इस योजना का लाभ उठाने का आग्रह किया।

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