स्वच्छ सुजल गांव में बने मंदिर में जलशक्ति मंत्री ने विधि विधान से पूजा अर्चना कर प्रदेशवासियों के सुख समृद्धि की मंगल कामना की
नारियल फोड़कर स्वच्छ सुजल गांव का उद्घाटन करने के बाद जल शक्ति मंत्री ने भगवान शिव जी की प्रतिमा का माल्यार्पण किया और स्वच्छ सुजल गांव में बने जल मंदिर में बैठकर जलशक्ति मंत्री ने पूजा अर्चना कर प्रदेशवासियों के सुख समृद्धि की मंगल कामना की। महाकुंभ मेला क्षेत्र के करीब 40000 वर्ग फीट क्षेत्र में फैले इस अत्याधुनिक प्रोटोटाइप गांव के बारे में बताते हुए जल शक्ति मंत्री ने कहा कि इसमें जल जीवन मिशन के पहले बुंदेलखंड और जल जीवन मिशन योजना के बाद बुंदेलखंड और प्रदेश के अन्य हिस्सों में आए परिवर्तन को दिखाया गया है। जलशक्ति मंत्री ने कहा कि आज घर-घर नल से जल पहुंच रहा है। जिससे लोगों के जीवन में परिवर्तन आया है। उन्होंने कहा कि अब तक पूरे प्रदेश में 2 करोड़ 35 लाख करोड़ तक नल कनेक्शन पहुंचाया जा चुका है। इस मौके पर राज्य स्वच्छता एवं पेयजल मिशन के अधिशासी निदेशक बृज राज सिंह यादव एवं वरिष्ठ मीडिया सलाहकार राधा कृष्ण त्रिपाठी मौजूद थे।
जल शक्ति मंत्री ने स्वच्छ सुजल गांव में बने डिजिटल गेम जोन का लिया आनंद
स्वच्छ सुजल गांव में लगी प्रदर्शनी, इलेक्ट्रॉनिक वॉल और मिशन की सफलता दर्शाने के लिए बनाई गई आर्ट गैलेरी का भ्रमण करने के बाद जल शक्ति मंत्री ने डिजिटल गेम जोन में द वॉटर रन गेम का भी आनंद लिया। द वॉटर रन गेम में जल जीवन मिशन द्वारा सप्लाई किए जा रहे स्वच्छ पेयजल की खूबियों को गेम के माध्यम से दर्शाया गया है। इसमें गेम खेलने वाले व्यक्ति को एक गंदे पानी और एक साफ पानी का विकल्प दिया जाता है। दौड़ते समय यदि व्यक्ति साफ पानी को सिलेक्ट करता है, तो उसकी लाइफलाइन बढ़ती जाती है। इसके बाद जलशक्ति मंत्री ने स्वच्छ सुजल गांव में बनी गौशाला में पहुंचकर गौ माता को गुड़ खिलाया।
दि लाइफ लाइन बुक और विडियो डॉक्यूमेंट्री का किया विमोचन
जल शक्ति मंत्री ने इस मौके पर जल जीवन मिशन से पहले और मिशन के आने के बाद लोगों के जीवन में आए परिवर्तन पर आधारित किताब ‘दि लाइफ लाइन’ का विमोचन किया। इस किताब में प्रदेश की ऐसी 10 कहानियों का विवरण दिया गया है। इसके अलावा 10 अलग-अलग विडियो डॉक्यूमेंट्री जल कथा को लॉन्च किया। इसमें भी जल संकट की कहानी को दर्शाया गया है। इसमें जल जीवन आने से पहले के संघर्ष और जल जीवन जल आने के बाद के बदलाव को जल कथाओं के माध्यम से दिखाया गया है।